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कोटा को मिले दस आक्सीजन सिलेंडर बिलासपुर पहुंच गए । कोटा हास्पिटल में फ्लोमीटर भी नहीं ।

कोटा एसडीएम ने कहा कोटा ,लखनीदेवी , सीवीरमन के साथ ही

सकरी में स्थिति नेमी चंद जैन हास्पीटल में भी पचास बेड की व्यवस्था की जा रही है ।

दबंग न्यूज लाईव
सोमवार 26.04.2021

करगीरोड कोटा – दबंग न्यूज लाईव ने कोटा में इमरजेंसी के लिए आक्सीजन सिलेंडर के ना होने की खबर को प्रमुखता से प्रकाशित किया था जिसके बाद कोटा स्थिति पाटिल इंफ्रास्ट्रचर ने कोटा के लिऐ दस आक्सीजन सिलेंडर दान किए थे । लेकिन प्राप्त जानकारी के अनुसार वो आक्सीजन सिलेंडर कोटा अस्पताल आने की जगह बिलासपुर पहुंच गए । हमने जब इस बारे में कोटा बीएमओ से बात की तो उन्होंने इन दस सिलेंडरों की जानकारी से साफ इंकार कर दिया । इसके बाद हमने कोटा एसडीएम से इस बात की जानकारी चाही तो उनका कहना था कि जो दस सिलेंडर मिले हैं उन्हें बिलासपुर एसडीएम के सुपुर्द कर दिया गया है । यदि कोई इमरजेंसी आती है और कोटा के किसी मरीज को आक्सीजन सिलेंडर की जरूरत होती है तो वहां उसे मिल सके । हम कह सकते हैं कि हमने सिलेंडर दिया हुआ है इसलिए कोटा के मरीज को प्रदान किया जाए ।

सिर्फ इस वजह से कि कभी कोटा के किसी मरीज को आक्सीजन की जरूरत होगी और वो उसे बिलासपुर में तभी मिलेगी जब कोटा विकासखंड से बिलासपुर आक्सीजन के सिलेंडर दिए जाएगे । ये बात हजम नहीं होती । क्या कोटा का मरीज बिलासपुर में ये ढुंढते फिरेगा कि कोटा से दिया गया आक्सीजन सिलेंडर किस हास्पीटल में हैं । होना ये चाहिए था कि कोटा के लिए दान दिया गया आक्सीजन सिलेंडर कोटा अस्पताल में इमरजेंसी के लिए रखा जाता ताकि यदि किसी को तत्काल आक्सीजन की जरूरत पड़े तो कोटा में लगाया जा सके । लेकिन अफसोस की बात ये है कि कोटा की इस जरूरत को समझा ही नहीं जा रहा है हद्द तो ये हो गई है कि स्वास्थ्य केन्द्र में फ्लोमीटर तक नही है ।


हालांकि बाद में एसडीएम टी आर भारद्वाज ने ये भी बताया कि – दस सिलेंडर की और व्यवस्था हो चुकी है और जल्द ही कोटा हास्पीटल में दस आक्सीजन युक्त बेड की व्यवस्था हो जाएगी । इसके अलावा लखनी देवी ट्रस्ट और सीवी रमन विश्वविद्यालय में भी आक्सीजन युक्त बेड की व्यवस्था की जा रही है साथ ही सकरी स्थिति नेमी चंद जैन कैंसर हास्पीटल की बिल्डिंग में भी पचास बेड की व्यवस्था जल्द ही हो जाएगी वहां के ट्रस्ट वालों से बात हो गई है और साफ सफाई करवाई जा रही है । हम हर संभव प्रयास लोगो की मदद के लिए कर रहे हैं ,सभी को इस घड़ी में मदद करनी चाहिए ।

ये पहल अच्छी है लेकिन जब तक लखनीदेवी , सकरी अस्पताल और सीवीरमन में व्यवस्था नहीं हो जाती कोटा अस्पताल में शिघ्र ही दस आक्सीजन युक्त बेड को क्रियाशील करने की पहल होनी चाहिए । ताकि आपातकालीन स्थिति में वो मरीजों के काम आ सके । बहरहाल नगर के जनप्रतिनिधियों और प्रबुद्ध लोगों को भी चाहिए कि वो शहर में स्वास्थ्य सुविधाओं के बेहतर व्यवस्था के लिए आगे आए और जिम्मेदारों से बात करें तथा प्रक्रिया में रहने वाली व्यवस्था को धरातल पर लाने के लिए युद्ध स्तर पर प्रयास और कार्य होने चाहिए जिससे लोगों को समय पर लाभ मिल सके ।

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