दबंग न्यूज लाईव
मंगलवार 27.06.2023

करगीरोड कोटा – कोटा जनपद पंचायत के लिटिया ग्राम पंचायत में समय समय पर सरपंच और उस समय पदस्थ सचिव ने मिल कर कई लाख की अनियमितता की । पंचायत के विकास के लिए आए भारी भरकम बजट को सरपंच और दो सचिवों ने मिलकर आपस में सफाचट कर डाला । उस समय शायद इनके पांव जमीन पर नहीं पड़ रहे होंगे लेकिन जांच के बाद जब इनसे लाखों रूपए रिकवरी करने का आदेश आया तो शायद इन्हें दिन में ही तारे दिख रहे होंगे ।


कोटा जनपद पंचायत का लिटिया ग्राम पंचायत शुरू से ही आर्थिक अनियमितता को लेकर चर्चा में बना हुआ था । कई बार की शिकायत के बाद जांच हुई और जांच में जो सामने आया उसने पंचायत में हो रहे गोरखधंधे को उजागर कर दिया । जांच टीम ने कई पन्नों की अपनी रिपोर्ट उच्च अधिकारियों को दी जिसमें सरपंच दुलेश्वरी नेताम और अलग अलग समय में यहां पदस्थ सचिव केशव यादव और पोलो दास के द्वारा आर्थिक अनियमितता किए जाने की कहानी थी ।

जांच के बाद लिटिया की सरपंच दुलेश्वरी नेताम को पद से हटाते हुए छह साल के लिए चुनाव लड़ने के भी अयोग्य कर दिया गया है वहीं तत्कालिन सचिव केशव यादव से चार लाख नौ हजार दो सौ पैतालिस रूपए और पोलोदास कुर्रे से तीन लाख पैंतिस हजार सात सौ अठारह रूपए की वसूली करने का आदेश जारी किया गया है ।

इस पूरे प्रकरण के पीछे एक सवाल ये भी सामने आता है कि क्या इतने रूपयों की बंदरबांट में सिर्फ यहीं तीन लोग शामिल थे ? जबकि सभी जानते हैं पंचायत की राशि में कौन कौन अपना हिस्सा लेता है । क्या इस जांच के दायरे को और अधिक विस्तार देते हुए उन सभी पर भी कार्यवाही नहीं होनी चाहिए जिन्होंने इनसे कमीशन लिया होगा ?
खैर शासकीय मद का ऐसा दुरूपयोग होने पर कार्यवाही जरूर होना चाहिए ताकि पंचायत के विकास के लिए आई धनराशि का पंचायत के ही विकास में उपयोग हो । देखना होगा सरपंच द्वारा कब इस राशि को जमा करवाया जाता है जबकि सचिवों से रिकवरी की राशि उनके वेतन से काटा जाना है ।