राजनैतिक दलों के साथ सर्व आदिवासी समाज भी चुनाव में ।
रानी दुर्गावती बलिदान दिवस पर बने नए राजनैतिक समीकरण ।
दबंग न्यूज लाईव
गुरूवार 25.06.2020
मरवाही – मरवाही में अभी उपचुनाव की कोई अधिकृत घोषणा चुनाव आयोग ने नहीं की है । लेकिन जिस तरह से राजनेैतिक पार्टीयों ने मरवाही को लेकर कसरत शुरू कर दी है उससे इस बात से भी इंकार नहीं किया जा सकता कि उपचुनाव की घोषणा भी जल्द हो जाए । लेकिन फिलहाल माहौल में कोरोना संक्रमण भी एक फैक्टर है जो चुनाव की तारीखों को थोड़ा दूर रखे लेकिन राजनीति है कुछ भी हो सकता है । इसलिए उपचुनाव की तारीखों के साथ ही राजनैतिक दलों के उठापटक बयानबाजी और नए नए पैंतरे देखते रहिए ।
मरवाही में इस बार काफी कुछ उलटने पलटने वाला है और इसके संकेत दिए पूर्व सांसद और सर्व आदिवासी समाज के संरक्षक सोहन पोटाई ने । ये रानी दुर्गावती बलिदान दिवस के दिन मरवाही के एक कार्यक्रम में थे । आदिवासी समाज के लोगों को अच्छा खासा जमावड़ा था , कांग्रेस के अध्यक्ष मोहन मरकाम भी क्षेत्र के दौरे पर थे , मरवाही में उपचुनाव भी होने हैं । ऐसे में सोहन पोटाई ने पासा फेंक ही दिया कि इस बार यहां से सर्व आदिवासी समाज भी अपना प्रत्याशी उतारेगी ।
मरवाही आदिवासी सीट है तो यकीनी तौर पर तीनों पार्टी से आदिवासी प्रत्याशी ही मैदान में होंगे । यहां के अधिकतर मतदाता भी आदिवासी समाज के हैं । तोे फिर राजनैतिक गोटी किसकी फिट होगी ? 2001 से यहां की सीट पर कब्जा करने वाले जोगी परिवार की ? या उससे पहले इस सीट पर कब्जा रखने वाले भाजपा की ? सत्ता में काबिज कांग्रेस की ? या फिर सर्व आदिवासी समाज की ? इस सवाल का जवाब तो भविष्य ही देगा । लेकिन इतना तय है कि यदि सर्व आदिवासी समाज एक जुट हो जाता है तो तीनों राजनैतिक पार्टियों के लिए मुश्किल खड़ी हो जाएगी ।
लेकिन तय ये भी है कि इस सीट पर हार जीत से कांग्रेस भाजपा को कोई ज्यादा फर्क नहीं पड़ना है । दोनों में से कोई भी जीते इनके विधानसभा में एक विधायक ही बढ़ेगें और कुछ नहीं लेकिन महत्वपूर्ण ये होगा कि ये विधायक मरवाही से होगा जो स्व अजीत जोगी की सीट थी । यहां सबसे ज्यादा किसी पार्टी की साख लगी है तो वो है जनता कांग्रेस की क्योंकि खोना और पाना इसी को है । इसी के साथ ये उपचुनाव जनता कांग्रेस का भविष्य भी तय करेगा ।